लोदी रोड के सांई बाबा मंदिर पर पहली बार सन 1991 मुझे पहली बार जाने
का
संयोग बना। मंदिर में भीड़ के बीच ही पंडित जी मेरे पास आए और बोले बेटा, ”पहली बार मंदिर आए
हो,
दिल से जो मांगोगे वह मिलेगा। मुराद पूरी होने पर बाबा की सेवा में तत्पर रहना”। मैंने उसी
दोरान डीडीए में दुकान की लिए अर्जी दी थी। मैंने बाबा से मांगा कि डीडीए की दुकान मिल
जाएतो
में आपकी शक्ति को मानूगा ।
बाद में और प्राथमिक शिक्षा गाँव
के स्कूल से कि
गई ओर खेल
कूद का शौक बहुत था उसके बाद
साईं मन्दिर लोदी
रोड कि वजय
से दयाल सिंह
कॉलेज मे दाखिला
लिया रोजाना साईं
के दर्शन करता
और अपनी पढाई
मे ध्यान लगाता इसी बीच
NSVI , के कुछ शरारती
दलों सा विवाद
हुआ AVBP मे
छात्र नेता का
रूप मे कार्य
किया उसके बाद
1994 मे त्रिलोगपुरी ब्लॉक - 34 मे साई
धाम की शुरुवात
की। दुकान मिली और मैं बाबा की “शरण में हर हफ्ते वीरवार को जाने लगा। मैंने
देखा
कि सांई बाबा की “शरण में ना कोई धर्म का बंधन है, ना किसी जात पात का। बाबा की “शरण में
आकर
सांई सच्चरित्र का अध्ययन शुरू किया। लगा कि अब बाबा के वचन पर चलकर ही उद्धार हो सकता है।
मयूर
विहार फेस -1 दिल्ली 110091 के चिल्ला सरौदा गांव में साल 1-11-1975 में मेरा जन्म हुआ। गांव की जमींदारी
1965
में खत्म हो गयी थी। दिल्ली विकास प्राधिकरण ने मेरे जैसे हजारो परिवार वालों को दिल्ली में
मामूली कीमत पर जमीन लेकर सभी जमींदारों को रोड पर ला दिया था।
इसी तरह मेरी भी एक जमीन को लेकर साल 1988 से डीडीए से विवाद शुरू हुआ। यह विवाद लंबे समय तक चला और
मैंने साई बाबा का सामने अर्जी लगई कि अगर यह जमीन मुझे मिलीं तो एक साई दरबार तेरी इस जमीन पर बनाऊंगा इसी तरह साई बाबा ने 1998 मे मुझे केस मे मजबूती दिलाई फिर मैंने अपने पिता चौधरी धनपाल सिंह उर्फ धन्नू पुत्र सवर्गीय चौधरी अमीचन्द से 500 गज जमीन लेकर मन्दिर को दान कि गई उसका
ट्रस्ट बनाकर उससे साईं बाबा की शरण में आने के बाद उम्मीद बंधी थी लगा कि इस विवाद का हल
भी
...
05:30 AM - 12:30 PM | मंदिर का समय |
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04:30 PM - 09:30 PM | मंदिर का समय |
06:15 AM | काकड़ आरती |
12:00 PM | मध्यान आरती |
07:00 PM | सांय काल आरती |
09:15 PM | सेज आरती |
योगदान के लिए तैयार
देने के बारे में वास्तव में कुछ गहरा है, और जब हम ऐसा करते हैं तो यह समझ पाना कठिन हो जाता है कि हम उस मन का शिकार क्यों होते हैं जो शांति और खुशी के मार्ग के रूप में स्वार्थ की महिमा करता है। मन अक्सर दिल से उदार और दयालु होने की बात करने की कोशिश करता है।
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कार्यक्रम
5567
कुल सदस्य
177
बी पी एल सेवा
"मा.श्री.अरविंद सावंत, केंद्रिय मंत्री यांनी साईबाबांच्या समाधीचे दर्शन घेतले".
प्रकाशित दिनांक: 27 Jul 2019
पारायण सोहळ्यानिमित्त दररोज धार्मिक व सांस्कृतिक कार्यक्रम
प्रकाशित दिनांक: 01 Feb 2019